महावीर स्वामी पेड़ के नीचे ध्यानमग्न बैठे थे। पेड़ पर आम लटक रहे थे।
बच्चों ने आम तोड़ने के लिए पत्थर फेंके।
कुछ पत्थर आम को लगे और एक महावीर स्वामी को लगा।
बच्चों ने कहा - प्रभु! हमेंक्षमा करें,
हमारे कारण आपको कष्ट हुआ है।
प्रभु बोले - नहीं, मुझे कोई कष्ट नहीं हुआ।
बच्चों ने पूछा - तो फिर आपकी आंखों में आंसू क्यों?
महावीर ने कहा - पेड़ को तुमने पत्थर मारा तो इसने तुम्हें मीठे फल दिए,
पर मुझे पत्थर मारा तो मैं तुम्हें कुछ नहीं दे सका, इसलिए मैं दुखी हूँ
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